चंडीगढ़। पंजाब के मुखयमंत्री कैप्टन अमरिन्दर सिंह ने गुरदासपुर सैक्टर में नशे की बड़ी खेप ज़ब्त करने में शामिल 10वीं बटालियन के जवानों की सराहना के लिए सीमा सुरक्षा बल (बी.एस.एफ.) के डायरैक्टर जनरल सुरजीत सिंह देसवाल को पत्र लिखा है। मुखयमंत्री ने सिफ़ारिश की कि 60 किलो हेरोइन ज़ब्त करने वाली बी.एस.एफ. टीम के सभी सदस्यों को उनकी सफलता के लिए सममानित करना चाहिए। मुखयमंत्री ने लिखा, ‘जवानों की मुस्तैदी और उसके बाद तत्काल कार्यवाही न की होती तो नशे की बड़ी खेप भारतीय मार्केट में दाखि़ल हो जाती और बड़ी संखया में भारतीयों के जीवन पर बहुत बुरा प्रभाव पडऩा था।’ कैप्टन अमरिन्दर सिंह ने कहा कि इस ऑपरेशन में शामिल बी.एस.एफ. की 14 सदस्यीय टीम की मिसाली कार्यवाही प्रशंसनीय है जिसने देश के नौजवानों को नशे के चंगुल से बचाया। उन्होंने कहा कि जी.आई.एन. -61 में अंतर कठिन है ख़ास तौर पर रात के समय पर क्योंकि यह दरियाई और कँटीली तार रहित है परन्तु बी.एस.एफ. के जवानों ने न सिफऱ् बेमिसाल मुस्तैदी दिखाई बल्कि रावी दरिया के बहाव के साथ लड़ते हुये अपनी जानें भी जोखिम में डालीं। 18 और 19 जुलाई 2020 की रात को लगभग 2.45 बजे बी.ओ.पी. नंगली के अधीन जी.आई.एन. -61 में बी.एस.एफ. कांस्टेबल बिरसा मुरमु (नंबर 070031243) जो किश्ती नाकों का हिस्सा था और पत्थरों के टीले पर तैनात था, ने रावी दरिया में पाकिस्तान की ओर से भारत की तरफ़ कुछ संदिग्ध वस्तुएँ आती देखीं। उसने बाकी जवानों को चौकस किया और 10 बटालियन के बी.एस.एफ. जवान ने तत्काल कार्यवाही की और कपड़े के 60 पैकेट बरामद किये जिनमें कुल 59.6 किलो हेरोइन बरामद हुई। ज़ब्त की हेरोइन की कीमत 300 करोड़ रुपए बतायी गई है।
बीएसएफ ने पकड़ी 300 करोड़ की हेरोइन, कैप्टन बोले वाह-वाह
चंडीगढ़। पंजाब के मुखयमंत्री कैप्टन अमरिन्दर सिंह ने गुरदासपुर सैक्टर में नशे की बड़ी खेप ज़ब्त करने में शामिल 10वीं बटालियन के जवानों की सराहना के लिए सीमा सुरक्षा बल (बी.एस.एफ.) के डायरैक्टर जनरल सुरजीत सिंह देसवाल को पत्र लिखा है। मुखयमंत्री ने सिफ़ारिश की कि 60 किलो हेरोइन ज़ब्त करने वाली बी.एस.एफ. टीम के सभी सदस्यों को उनकी सफलता के लिए सममानित करना चाहिए। मुखयमंत्री ने लिखा, ‘जवानों की मुस्तैदी और उसके बाद तत्काल कार्यवाही न की होती तो नशे की बड़ी खेप भारतीय मार्केट में दाखि़ल हो जाती और बड़ी संखया में भारतीयों के जीवन पर बहुत बुरा प्रभाव पडऩा था।’ कैप्टन अमरिन्दर सिंह ने कहा कि इस ऑपरेशन में शामिल बी.एस.एफ. की 14 सदस्यीय टीम की मिसाली कार्यवाही प्रशंसनीय है जिसने देश के नौजवानों को नशे के चंगुल से बचाया। उन्होंने कहा कि जी.आई.एन. -61 में अंतर कठिन है ख़ास तौर पर रात के समय पर क्योंकि यह दरियाई और कँटीली तार रहित है परन्तु बी.एस.एफ. के जवानों ने न सिफऱ् बेमिसाल मुस्तैदी दिखाई बल्कि रावी दरिया के बहाव के साथ लड़ते हुये अपनी जानें भी जोखिम में डालीं। 18 और 19 जुलाई 2020 की रात को लगभग 2.45 बजे बी.ओ.पी. नंगली के अधीन जी.आई.एन. -61 में बी.एस.एफ. कांस्टेबल बिरसा मुरमु (नंबर 070031243) जो किश्ती नाकों का हिस्सा था और पत्थरों के टीले पर तैनात था, ने रावी दरिया में पाकिस्तान की ओर से भारत की तरफ़ कुछ संदिग्ध वस्तुएँ आती देखीं। उसने बाकी जवानों को चौकस किया और 10 बटालियन के बी.एस.एफ. जवान ने तत्काल कार्यवाही की और कपड़े के 60 पैकेट बरामद किये जिनमें कुल 59.6 किलो हेरोइन बरामद हुई। ज़ब्त की हेरोइन की कीमत 300 करोड़ रुपए बतायी गई है।